Saturday 29 September 2018

एलन मस्‍क पर एक और केस, दोषी हुए तो नहीं रहेंगे टेस्‍ला के CEO



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टेस्ला के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) एलन मस्क के विवादों का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. थाइलैंड की गुफा से 12 बच्चों और उनके फुटबॉल कोच को बचाने में मदद करने वाले ब्रिटिश गुफा विशेषज्ञ वेरनॉन अन्सवर्थ ने स्पेस एक्स के मालिक एलन मस्क पर मानहानि का मुकदमा किया ही था. अब अमेरिकी सिक्यॉरिटीज ऐंड एक्सचेंज कमिशन(एसईसी) ने गुरुवार को टेस्ला के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) एलन मस्क पर शेयरों में धोखाधड़ी करने (सिक्यॉरिटीज फ्रॉड) का आरोप लगाया है.




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कमिशन ने आरोप लगाया है कि मस्क ने पिछले महीने कंपनी को प्राइवेट करने से जुड़े ट्वीट करके निवेशकों को भ्रमित किया है.आपको बता दें कि मस्क ने कंपनी को निजी स्वामित्व में लेने के लिए आवश्यक फंड जुटाने की बात कही थी. कमिशन ने आरोप लगाया है कि मस्‍क ने कहा था कि उन्होंने इलेक्ट्रिक कार बनाने वाली कंपनी टेस्ला को निजीकरण करने के लिए 420 डॉलर प्रति शेयर पर फंडिंग हासिल कर ली है.




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एलन मस्क के इस ट्वीट से टेस्ला के शेयरों की कीमतों में तेजी आई. कमिशन ने कहा है कि ट्विटर पर दिए गए मस्क के बयान गलत और भ्रामक हैं और मस्क ने अपनी इस योजना के बारे में कभी भी कंपनी के अधिकारियों और संभावित निवेशकों से कोई बातचीत नहीं की. मस्क ने बाद में कहा कि उन्होंने आखिर में अपने इस फैसले पर अमल न करने का फैसला किया.




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न्यूयॉर्क टाइम्स के मुताबिक, फेडरल कोर्ट में गुरुवार को यह मामला दर्ज किया गया. इसके तहत मस्क को टेस्ला जैसी सार्वजनिक कंपनियों के सीईओ पद से हटाने की मांग की गई है.




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मस्क ने कमिशन की तरफ से लगाए गए आरोपों को सिरे से खारिज किया है. मस्क ने जारी बयान में कहा है कि ''एसईसी के इस अन्यायपूर्ण फैसले से मुझे गहरा दुख और निराशा हुई है. मैंने हमेशा सच्चाई, पारदर्शिता और निवेशकों के हित में कदम उठाया है.''




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टेस्ला ने भी मस्क पर पूरा समर्थन जताया है. आपको बता दें कि आरोप सही साबित होते हैं तो मस्क के भविष्य के लिए खतरा हैं. कमिशन जुर्माना लगाने और गलत तरीके से हासिल किए गए मुनाफे को लौटाने की मांग कर रहा है. इसके एसईसी एक्सचेंज में लिस्टेड कंपनी में बतौर अधिकारी या बोर्ड मेंबर मस्क के सेवाएं देने पर भी रोक लगा सकता है.




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कमिशन में इंफोर्समेंट की को-डायरेक्टर स्टेफानी एवाकियान ने बताया है कि एलन मस्क इस बात को अच्छी तरह से जानते हैं कि उनके बयानों में तथ्यों का कोई आधार नहीं है. आपको बता दें कि यह नया आरोप मस्क और उनकी कंपनी के लिए एक और बड़ा झटका है. टेस्ला को प्रॉडक्शन टारगेट पूरा करने में खासी दिक्कतें हो रही हैं.



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मीडिया रिपोर्ट के अनुसार मस्क के ट्वीट वाले दिन टेस्ला के शेयरों में करीब 11 फीसदी की तेजी आई, जिससे नैस्डेक को करीब डेढ़ घंटे के लिए ट्रेडिंग बंद करनी पड़ी. वहीं अब मस्क के कंपनी को प्राइवेट करने वाले ट्वीट के बाद से अब तक टेस्ला के शेयरों में 25 फीसदी की गिरावट आ चुकी है.




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डिपार्टमेंट ऑफ जस्‍ट‍िस भी इस मामले में आपराधिक आरोपों की जांच कर रहा है.




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आपको बता दें कि यह नया आरोप मस्‍क के इन दिनों लगातार खराब होती छव‍ि का नया उदाहरण है. मस्क पिछले दिनों एक टीवी शो में चरस पीते हुए दिखे थे. साथ ही मानहानि के मुकदमे का सामना भी कर रहे हैं.

चमत्‍कार: समुद्र में लैंड हुआ प्‍लेन, लोगों ने तैरकर बचाई जान



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अगली बार जब आप हवाई यात्रा पर जाएं तो स्‍वीमिंग जरूर सीख लें, क्‍या पता आपको तैरना पड़ जाए. जी हां ऐसा ही हुआ प्रशांत महासागर के तट पर स्थित पापुआ न्यू गिनी के एक विमान के साथ.




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प्रशांत महासागर के तट पर स्थित पापुआ न्यू गिनी का एक विमान गुरुवार को एक ऐसी घटना का शिकार हुआ जिसने हर किसी को हैरान कर दिया है.




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माइक्रोनेशिया में एक एयरपोर्ट पर लैंड करते वक्‍त रनवे से आगे निकल गया और पास के ही समुद्र में जा घुसा. प्लेन रनवे से करीब 160 मीटर आगे समुद्र में लैंड किया.




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इस प्लेन में करीब 36 यात्री और 11 क्रू मेंबर्स सवार थे. स्थानीय अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि की है कि Air Niugini के विमान में मौजूद सभी यात्री सुरक्षित हैं.




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सभी यात्रि‍यों को तैरकर सामने रेस्‍क्‍यू बोट तक पहुंचना पड़ा.




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इस मामले की जांच हो रही है कि हादसे की असली वजह क्‍या रही.




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घटना से जुड़ी कई तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई हैं. आपको बता दें कि ऐसे पहले ही भी हादसे हुए हैं. इस साल जनवरी में ही तुर्की में एक आश्चर्यजनक विमान दुर्घटना देखने को मिली थी. तुर्की में यात्री विमान रनवे से फिसल कर ब्लैक सी में गिरते-गिरते बचा था. यह विमान उत्तरी तुर्की के एक एयरपोर्ट पर उतर रहा था. वहीं इस हादसे से 2009 के हडसन नदी पर यूएस एय़रवेज की फ्लाइट 1549 हादसे की याद दिला दी. उस समय फ्लाइट 1549 परिंदों के झुंड से टकराने के बाद लड़खड़ाने लगी थी. हादसे के वक्त 155 यात्री सवार थे. इसे पायलट चेस्ली सलनबर्गर उड़ा रहे थे और जब इंजन ने काम करना बंद कर दिया है, तो उन्होंने सूझबूझ का परिचय देते हुए विमान को हडसन नदी में उतार दिया था. उस समय भी सभी यात्री बच गए थे.




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पापुआ न्यू गिनी की एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन कमीशन ने कहा कि वे जांचकर्ताओं को मौके पर भेजने की तैयारी कर रहे हैं.




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आपको बता दें कि पुलिस अधिकारी के मुताबिक, विमान को सुबह करीब 9.30 बजे लैंड करना था जब वह लैंड कर रहा था तो रनवे पर रुका ही नहीं और सीधा चलता चला गया. विमान सीधा समुद्र में जाकर ही रुका. इस वक्त सभी यात्री उसमें मौजूद थे.




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ये घटना माइक्रोनेशिया क्षेत्र में हुई है. जहां Air Niugini का Boeing 737-800 इस घटना का शिकार हुआ है. सभी यात्रियों को इलाज के लिए अस्पताल में भेजा गया है.

इस प्रेम कहानी की वजह से महिलाएं हुईं सबरीमाला मंदिर से दूर



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सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद अब सभी उम्र की महिलाएं सबरीमाला मंदिर के भीतर जाकर भगवान अयप्पा की पूजा कर सकती हैं. केरल के पेरियार टाइगर रिजर्व में 18 पहाड़ियों से घिरा यह एक खूबसूरत मंदिर है. ऐसी मान्यता है कि इस मंदिर की स्थापना भगवान परशुराम ने की थी.




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ऐसा माना जाता था कि देव अयप्पा पहाड़ी जंगल के बीच स्थ‍ित सबरीमाला मंदिर में 'नैष्ठि‍क ब्रह्मचर्य' (निष्ठावान ब्रह्माचारी) अवस्था में विराजमान हैं. इस मंदिर में अभी तक रजस्वला की उम्र (10 से 50 साल) तक की औरतों को प्रवेश करने की इजाजत नहीं थी. ऐसा क्यों था? इसके बारे में कई तरह की कहानियां प्रचलित हैं.




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पुराणों और जनश्रुतियों से निकली कहानियों के अनुसार, देव अयप्पा का जन्म भगवान शिव और भगवान विष्णु के संयोग से हुआ था. असल में एक खतरनाक राक्षस भष्मासुर के वध के लिए भगवान विष्णु ने मोहिनी का वेश रचा था. भष्मासुर देवताओं से वह अमृत छीनना चाहता था जो समुद्र मंथन से निकला था. तो कथा यह है कि भगवान शिव भी विष्णु के इस मोहिनी रूप से मोहित हो गए और दोनों के संयोग से देव अयप्पा का जन्म हुआ.





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देव अयप्पा जब छोटे थे, तभी दक्ष‍िण भारत के इलाके में एक राक्षसी का आतंक मचा हुआ था. उसे यह वरदान मिला था कि उसे हार सिर्फ भगवान शिव और विष्णु के संयोग से पैदा संतान से ही हो सकती है. तो इस तरह दोनों के बीच लड़ाई हुई और देव अयप्पा ने उस राक्षसी पर विजय हासिल की. लेकिन हार के बाद यह खुलासा हुआ कि वह राक्षसी वास्तव में एक सुंदर युवा महिला थी, जो किसी श्राप की वजह से राक्षसी बन गई थी.




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इस हार के बाद राक्षसी को इस अभिशाप से मुक्ति मिल गई. महिला देव अयप्पा से बहुत प्रभावित हुई और उसे उनसे प्यार हो गया. उसके प्रेम प्रस्ताव को खारिज करते हुए देव अयप्पा ने कहा कि उन्हें वन में जाकर भक्तों की प्रार्थना सुनने का आदेश मिला है. लेकिन युवती अपनी जिद पर अड़ी रही. आखिरकार देव अयप्पा ने उससे यह वादा किया कि जिस दिन कन्नी-स्वामी (नए भक्त) सबरीमाला में उनके सामने आकर प्रार्थना करना बंद कर देंगे, उस दिन वे उस युवती से शादी कर लेंगे.




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युवती इस बात पर राजी हो गई और पास के एक मंदिर में बैठकर इंतजार करने लगी. आज उस महिला की भी पूजा की जाती है और पास के मंदिर में वह देवी मलिकपुरथम्मा के रूप में स्थापित हैं. तो कहानी के मुताबिक देवी मलिकपुरथम्मा के सम्मान करने की वजह से ही देव अयप्पा किसी रजस्वला स्त्री (ऐसी स्त्री जिसके पीरियड आते हों) का अपने यहां स्वागत नहीं करते. इस मान्यता का सम्मान करते हुए ज्यादातर औरतें खुद ही देव अयप्पा के मंदिर में नहीं जाती थीं ताकि देवी मलिकपुरथम्मा के प्यार और बलिदान का अपमान न हो.



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एक अन्य कहानी-
एक अन्य कथा के मुताबिक देव अयप्पा का उल्लेख इतिहास में है. उनका जन्म केरल के पट्थनमथिट्टा जिले में स्थ‍ित एक छोटे-से राजघराने पंथलम के यहां हुआ था. इसी जिले में सबरीमाला मंदिर स्थित है. अयप्पा बाद में एक ऐसे जनप्रिय राजकुमार बने जो अपने राज्य की प्रजा का काफी ध्यान रखते थे. कथा के मुताबिक अरब कमांडर वावर के नेतृत्व में कुछ लुटेरों ने राज्य पर हमला कर दिया.



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अयप्पा ने वावर को हराया और इसके बाद उनकी लोकप्रियता इतनी बढ़ गई कि उनके भक्त उनकी पूजा करने लगे. सबरीमाला मंदिर से 40 किमी दूर एरुमली में वावर का मकबरा स्थ‍ित है. कहा जाता है जो भक्त देव अयप्पा के दर्शन को जाते हैं वावर उनकी रक्षा करते हैं. कथा के अनुसार देव अयप्पा उन सभी की प्रार्थना जरूरत सुनते हैं जो 40 किमी दूर वावर के मकबरे तक भी जाते हैं.




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ऐसा माना जाता है कि अपने ऊपर मिली कठोर जिम्मेदारी की वजह से देव अयप्पा ने सारी सांसारिक इच्छाओं का त्याग कर दिया था. कई लोगों का मानना है कि शायद इसकी वजह ही रजस्वला स्त्रियों के सबरीमाला मंदिर में जाने पर रोक लगाई गई.
(सभी फोटो: PTI)

BJP ने जारी की PAK के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक की असली तस्वीर



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आज सर्जिकल स्ट्राइक के 2 साल पूरे हो गए. 2016 में उरी में आतंकी हमले के 10 दिन के अंदर ही भारत ने सर्जिकल स्ट्राइक किया था. इस मौके पर केंद्र में सत्तारूढ़ बीजेपी ने सोशल मीडिया पर सर्जिकल स्ट्राइक की कुछ 'वास्तविक फोटोज' शेयर की हैं. ट्विटर पर @BJP4India अकाउंट से फुटेज शेयर किया गया है. आइए देखते हैं कैसे पाकिस्तान के अंदर घुसकर भारतीय सेना ने सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया था...




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उरी में सेना के ठिकाने पर आतंकी हमले के जवाब में भारतीय सेना ने 29 सितंबर 2016 को नियंत्रण रेखा के पार जाकर आतंकवादियों के सात ठिकानों को तबाह करने के लिए सर्जिकल स्ट्राइक की थी.





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सेना के अनुसार इस कार्रवाई में बड़ी संख्या में वे आतंकवादी मारे गए जो भारतीय सीमा में घुसपैठ की फिराक में थे.




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सर्जिकल स्ट्राइक की दूसरी वर्षगांठ पर रक्षा मंत्री ने कहा है, ‘हमने दिखा दिया कि हत्या की कायरना हरकत को लेकर भारत चुप बैठकर सब देखता नहीं रहेगा. हमने उन्हें यह साबित कर दिया कि वे सजा से नहीं बचेंगे.’





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रक्षा मंत्री ने कहा- ‘अब यह बिल्कुल स्पष्ट हो गया है कि सभी आतंकी लांच पैड नष्ट कर दिये गये और जो लोग आतंक फैलाना चाह रहे थे, उन्हें उचित सजा दी गई.’




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सर्जिकल स्ट्राइक की दूसरी वर्षगांठ पर देशभर में अलग-अलग कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं.




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उधर, भारतीय नौसेना ने मुंबई और गोवा में 29 सितंबर से दो दिवसीय कार्यक्रम आयोजित कर रही है.




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बीजेपी के द्वारा जारी वीडियो में सर्जिकल स्ट्राइक के फुटेज के साथ-साथ पीएम मोदी के कुछ वक्तव्यों को भी शामिल किया गया है.




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बीजेपी ने ट्विटर पर सर्जिकल स्ट्राइक का फुटेज शेयर करते हुए लिखा- जिन्होंने सर्जिकल स्ट्राइक को अंजाम दिया, हम उन बहादुर जवानों को सलाम करते हैं.

लखनऊ शूटआउट: मृतक विवेक के साथ गाड़ी में मौजूद सना ने बताई 'पुलिस के अपराध' की कहानी



उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के पॉश इलाके गोमती नगर विस्तार में यूपी पुलिस के कॉन्स्टेबल प्रशांत चौधरी ने ऐप्पल के सेल्स मैनेजर विवेक तिवारी को गोली मारी जिसके चलते उनकी मौत हो गई. इस मामले में मृतक का परिवार लगातार पुलिस पर सवाल उठा रहा है. मृतक की पत्नी कल्पना तिवारी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से बात करने की मांग की है. उन्होंने कहा कि मेरे पति का तब तक अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा जब तक मुख्यमंत्री उनसे मुलाकात नहीं करते.

कल्पना ने कहा कि अगर मेरे पति किसी संदिग्ध हालत में थे भी तो भी पुलिस को कोई हक नहीं कि वो मेरे पति को गोली मारे. अगर विवेक ने पुलिस के कहने पर गाड़ी नहीं रोकी तो आरटीओ दफ्तर जाकर उनकी गाड़ी का नंबर नोट करके उनके खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए थी. पुलिस ने आखिर उन्हें गोली क्यों मारी? क्या वो कोई आतंकवादी थे.
कल्पना के मुताबिक, 'मैं सना (जो उस समय विवेक के साथ गाड़ी में मौजूद थीं) को जानती हूं जो उस समय मेरे पति के साथ मौजूद थी. कल्पना ने बताया कि अस्पताल के एक कर्मचारी ने फोन पर मुझे जानकारी दी कि आपके पति और उनके साथ मौजूद महिला को चोट लगी है. आखिर पुलिस ने मुझे इस बात की जानकारी क्यों नहीं दी?' वहीं, विवेक के रिश्तेदार विष्णु शुक्ला ने पूछा कि क्या विवेक आतंकवादी थे जो पुलिस ने उन पर फायरिंग की? इसके साथ ही इस मामले में उन्होंने निष्पक्ष सीबीआई जांच की मांग की है.
सना ने बताया- क्या हुआ था
घटना के वक्त विवेक के साथ गाड़ी में मौजूद सहकर्मी सना खान ने बताया कि, 'मैं विवेक के साथ घर जा रही थी. गोमती नगर विस्तार के पास हमारी गाड़ी पहुंची थी, तभी दो पुलिसवाले सामने से आए. पीछे वाले के हाथ में लाठी थी और आगे वाले के पास गन. पीछे वाला पहले उतर गया और आगे वाले ने हमारी गाड़ी के किनारे गाड़ी खड़ी कर दी. दोनों दूर से चिल्ला रहे थे. हमने उनसे बचकर निकलने की कोशिश की और उनके आगे के पहिए से हमारी गाड़ी टकराई. लेकिन तभी अचानक उन्होंने गोली चला दी. हमने वहां से गाड़ी आगे बढ़ाई. गोली विवेक सर की चिन पर लगी. जब त होश तो उन्होंने गाड़ी चलाई और बाद में गाड़ी अंडरपास में दीवार से टकरा गई और विवेक सर का काफी खून बहने लगा. मैंने सबसे मदद लेने की कोशिश की. एंबुलेंस के आने में देर हो रही थी. थोड़ी देर में वहां पुलिस आई, जिसने हमें अस्पताल पहुंचाया. बाद में जानकारी मिली कि विवेक की मौत हो चुकी है.'
आरोपी कॉन्स्टेबल बोला- बचाव में चलाई गोली
इस घटना के आरोपी प्रशांत चौधरी का कहना है कि रात 2 बजे मुझे एक संदिग्ध कार दिखी जिसकी लाइट बंद थी, जब मैंने कार की तलाशी लेनी चाही को विवेक ने तीन बार मुझे गाड़ी से मारने की कोशिश की, जिसके बाद अपने बचाव में मुझे फायरिंग करनी पड़ी.
आरोप साबित होने पर होगी कड़ी कार्रवाई: केशव प्रसाद मौर्य
इस मामले में दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है. राज्य के उप-मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि इस मामले की में जांच जारी है और दोनों कॉन्स्टेबलों के खिलाफ आरोप साबित होने का बाद उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
SSP बोले- जांच के बाद होगा मामला साफ
एसएसपी कलानिधि नैथानी का कहना है कि विवेक के सिर में चोट गोली से लगी या एक्सिडेंट से यह पोस्टमॉर्टम के बाद ही साफ हो सकेगा. अभी सना के बयान के आधार पर दोनों आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 302 के तहत केस दर्ज कर लिया गया है. उन्होंने कहा है कि मामले की जांच के लिए मजिस्ट्रेट सिफारिश की गई है और एसआईटी का गठन भी किया गया है.साथ ही उन्होंने साफ किया कि यह एनकाउंटर नहीं है.
कलानिधि नैथानी ने प्रेस कॉन्फ्रेस की इसके बाद सना ने भी मीडिया से बात की. दोनों के बयान में फर्क है. एसएसपी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि सना ने पुलिस को तहरीर दी है कि गोमती नगर विस्तार इलाके में सड़क किनारे हमारी गाड़ी खड़ी थी तभी सामने से पुलिस की बाइक आई और तभी विवेक और सना ने वहां से बचकर निकलने की कोशिश की. तभी पुलिस ने सामने से गोली चला दी. इसके बाद गाड़ी आगे जाकर अंडरपास में दीवार से टकराई और विवेक के सिर से खून बहने लगा.
वहीं इसके बाद सना ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि हमारी गाड़ी रुकी नहीं थी. सना ने बताया कि हम रास्ते से जा रहे थे तभी सामने से बाइक पर दो पुलिसवाले आए और दूर से ही बहुत तेज चिल्लाने लगे. तभी पीछे बैठा पुलिसवाला बाइक से उतर गया. उन्होंने हमें रोकने की कोशिश की, लेकिन विवेक ने गाड़ी नहीं रोकी तो पुलिस ने गोली चला दी.
हालांकि इस मामले में डीजीपी ओपी सिंह ने माना है कि कॉन्स्टेबल की गलती थी. हालात ऐसे नहीं थे कि उनपर गोली चलाना जरूरी हो. 

Tuesday 4 September 2018

Paytm को टक्कर देने के लिए Truecaller लाया ‘ चिल्लर’

चिल्लर एप को लॉन्च करने के बाद हम चाहते हैं कि यूजर्स इसे पेमेंट के लिए इस्तेमाल करें. हम अपनी टीम के लिए इस एप को और मजूबत बनाने के लिए काम कर रहे हैं.
नई दिल्ली: मशहूर कॉलर आईडी एप ट्रूकॉलर एप ने अपना नया पेमेंट एप ‘ चिल्लर’ लॉन्च किया है. इस एप को पेटीएम से टक्कर देने के लिए लॉन्च किया गया है. वहीं ट्रूकॉलर के इस कदम से ये भी माना जा रहा है कि ये एप व्हॉट्सएप पेमेंट को भी टक्कर दे सकता है.
आपको बता दें कि पिछले साल मार्च के महीने में पेमेंट सेगमेंट में कदम रखने के बाद ट्रूकॉलर ने भारत में पहली बार कुछ ऐसा ऐलान किया है. स्वीडन बेस्ड कंपनी ने कहा है कि वो अपने पेमेंट एप में यूपाई बेस्ड ट्रांस्फर्स का इस्तेमाल करेगा. ट्रूकॉलर पे 2.0 को लॉन्च करने के बाद कंपनी ने बैंकिंग को और पेमेंट को अपने एप में शामिल किया है.
ट्रूकॉलर के को फाउंडर नमी जार्रिनघालम ने कहा कि साल 2017 में ट्रूकॉलर को लॉन्च करने के बाद भारत के यूजर्स ने इस एप को काफी पंसद किया. लेकिन अब चिल्लर एप को लॉन्च करने के बाद हम चाहते हैं कि यूजर्स इसे पेमेंट के लिए इस्तेमाल करें. हम अपनी टीम के लिए इस एप को और मजूबत बनाने के लिए काम कर रहे हैं.
वहीं चिल्लर HDFC का बड़ा पार्टनर था जिसने एप को लॉन्च करने के लिए एक परफेक्ट लॉन्चपैड दिया.

फ्लिपकार्ट से अब आप उधार सामान भी मंगा सकते हो, जानिये पूरी खबर

फ्लिपकार्ट से अब आप उधार सामान भी खरीद सकते हो। आप को सुनने में थोड़ अजीब लग रहा होगा, पर यह सही हैं। आज तक आपने जान पहचान वाले दुकानगार से ही सामान खरीदा हैं। पर अब आप को फ्लिपकार्ट भी उधार सामान देगा। आप को बता दे कि फ्लिपकार्ट पर से जो लोग सामान खरीदते रहते हैं उनको यह सुविधा दी जा रही है जो बिना पैसे दिये सामान मंगवा सकते हैं। इसके बाद अपनी सुविधा अनुसार पैसे दे सकते हैं।
अक्सर लोग अपनी आस पास के दुकानदार के पास खाता चलाते हैं। और जब सैलेरी आती है तो अपनी सुविधा अनुसार पैसे देते हैं। एसा ही कुछ फ्लिपकर्ट कर रहा हैं। फ्लिपकार्ट अपने सबसे भरोसेमंद ग्राहकों को यह सुविधा देगा। इसके लिए आप को कोई भी सामान कार्ट में डालना होगा ,इसके बाद आप उसको खरीद पाओगे। बिना पैसा दिये। जब आप के पास पैसे हो तब आप उसका भुगतान कर सकते हो। फ्लिपकार्ट ने इसको ‘पे लेटर’ का नाम दिया हैं।
पे लेटर की सुविधा अभी चुंनिदा ग्राहकों को मिल रही हैं। आप को बता दे कि इस सुविधा को पाने के लिए किसी प्रकार की डाक्यमेंट्री सबमिट नहीं करनी होगी। अगर आप इसके योग्य होंगे तो आप को अपने आप इसका आफशन आ जायेगा। मान लो आप कोई भी सामान खरीदते हो तो वहाँ पर पेंमेट का आॅफशन आता हैं। इसकी जगह पे लेटर का आॅफशन आयेगा। जिस पर क्लिक करने पर आप का सामान आॅर्डर हो जायेगा। जो आप के घर के पते पर पहुँच जायेगा। इसके बाद आप को एक महीने के अन्दर पेंमेट करना होगा।

क्या आप जानते हैं JIO की फुल फॉर्म क्या है?

Jio शब्द फिलहाल सभी ने सुना ही होगा। जैसा कि आप सभी को पता है कि इंटरनेट की दुनिया में मुकेश अंबानी ने बड़ी क्रांति का निर्माण किया और सभी टेलिकॉम कंपनियों को परेशान कर दिया। सभी कंपनियों के पसीने छूट गए और ये सब किसकी वजह से हुआ?
रिलायंस जियो की वजह से। JIO के कारण हर कोई इंटरनेट का उपयोग करने लगा। इंटरनेट की पहुंच काफी बढ़ी। इंटरनेट प्लान को पोकेट फ्रैंडली बनाया गया। हर कोई आसानी से इसके रिचार्ज करवा सका। बाकी कंपनियों के इंटरनेट प्लान काफी महंगे हुआ करते थे।
और इसी का फायदा रिलायंस जियो ने उठाया। पहले सभी को फ्री इंटरनेट दिया और बाद में सस्ती दरों पर इंटरनेट दिया गया। चलो जियो के बारे में आप इतना कुछ जानते ही हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं JIO का आखिर मतलब क्या होता है। इसकी टैग लाइन आपको पता ही होगा।
जियो डिजिटल लाइफ। लेकिन JIO की फुल फोर्म क्या होती है। अगर शब्द जियो की बात करें तो इसका मतलब होता है LIVE(लिव)। लेकिन जैसा कि आप सभी को पता होगा कि हर शब्द की एक फुल फोर्म होती है। ऐसे में JIO की फुल फोर्म के बारे में हम आपको आज बताने जा रहे हैं। इसकी फुल फोर्म होती है JOINT IMPLEMENTATION OPPORTUNITIES (ज्वांइट इम्प्लिमेन्टेशन ओपोर्चुनिटीज़)

The post office has recently launched a new plan

The post office has recently launched a new scheme in which there is no need to worry about the daughter’s marriage, it is about to end.
If you deposit Rs 1025 per month in this post office, you will be given a payment amount of 602295 after 20 years. You only have to deposit 1025 rupees per month for 14 years and this scheme is for girls only. It is mandatory for the daughter to be under 5 years of age to take this plan. And at the time of the daughter’s wedding, you can withdraw 100% amount,
In this scheme, you can withdraw 50% after 18 years for the daughter’s education, if the death of the father for any reason, then the premium will not be taken and your plan will continue. This scheme is known as Sukanya Mudhi Yojana.

माउंट एवरेस्ट पर ली गई यह सेल्फी निश्चित है कि पृथ्वी गोल है

हालांकि, स्वयं को खुशी और खुशी में लिया जाता है। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि इसका क्या अर्थ है, यह शायद ही कभी होता है। अब समूह फोटो स्वयं के आधार पर लिया जाता है। वर्तमान में, एक आत्मनिर्भर देवी पृथ्वी में भाग लेने लगी है। या यह कहा जा सकता है कि यह selfie उन लोगों के लिए अनुबंध का जवाब है जो एक सपाट पृथ्वी पर विश्वास करते हैं।
कुछ लोग मानते हैं कि पृथ्वी पूरी तरह से सपाट है। ये लोग भूकंप रेखा के लिए गोपनीयता का अनुबंध देते हैं। ऐसे बहुत से लोग हैं जो मानते हैं कि उन्होंने अपना अलग समुदाय बना दिया है। इस समुदाय का नाम फ्लैट अर्थ सोसाइटी है। ये लोग साबित करते हैं कि पृथ्वी गोल नहीं है, बल्कि फ्लैट है।
एवरेस्ट से यह सेल्फी फ़्लैट अर्थ सोसाइटी के लोगों को निराश कर सकती है।
माउंट एवरेस्ट दुनिया का सबसे बड़ा शिखर है जो समुद्री स्तर से लगभग 8,848 मीटर ऊपर है। एक पर्वतारोही जो यहां पहुंचा है, ने सोशल मीडिया पर साइट रीडर पर एक सेल्फी पोस्ट की है।

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